By NS Desk | 22-Dec-2018
देहरादून. वित्तीय भ्रष्टाचार के मामले में आयुर्वेद विश्वविद्यालय के वित्त नियंत्रक भी अब घिरते नज़र आ रहे हैं. विश्वविद्यालय के निलंबित कुलसचिव मृत्युंजय मिश्रा प्रकरण में अब वित्त नियंत्रक भी जांच के दायरे में आ गए हैं. भ्रष्टाचार मामले की जांच कर रही विजिलेंस ने उपकरणों की खरीददारी से लेकर अन्य भुगतान में वित्त नियंत्रक की भूमिका को संदेहास्पद मानते हुए जांच शुरू कर दी है. आयुर्वेद विवि में कुलसचिव रहते हुए मृत्युंजय मिश्रा ने अमेजन ऑटोमेशन और क्रिएटिव वर्ल्ड सोल्यूशन कंपनी को लाखों रुपये के कंप्यूटर, इलेक्ट्रॉनिक्स आदि उपकरणों के ऑर्डर दिए थे. इस खरीद-फरोख्त में वित्त नियंत्रक की भूमिका की जांच भी होगी. गौरतलब है कि विवि को लाखों रुपये के सामान की आपूर्ति करने वाली फर्म की संचालिका शिल्पा त्यागी और नूतन रावत से विजिलेंस टीम एकबार पूछताछ कर चुकी है और उन्हें जरुरी दस्तावेज प्रस्तुत करने के लिए कहा गया है.