आईजीआईए में अंतर्राष्ट्रीय यात्रियों का परीक्षण करने वाली प्रयोगशाला के प्रमुख ने आईएएनएस को बताया कि हवाईअड्डे पर जांच में पाए गए संक्रमण के मामलों में अब कमी देखी जा रही है।
आईजीआईए में कोविड-19 के लिए परीक्षण करने के लिए अधिकृत प्रयोगशाला, जेनस्ट्रिंग के मुख्य परिचालन अधिकारी चेतन कोहली ने आईएएनएस को बताया कि ब्रिटेन से आए 1.5 प्रतिशत से भी कम यात्री कोविड-19 संक्रमित पाए गए, जबकि अंतर्राष्ट्रीय यात्रियों के बीच पाया जाने वाले संक्रमण के मामले दैनिक औसत 4-5 प्रतिशत के आसपास हैं।
कोहली ने कहा, हम रोजाना लगभग 1,100 यात्रियों का परीक्षण करते हैं और उनकी पॉजिटिविटी दर 4 से 5 प्रतिशत के बीच होती है। ब्रिटेन के यात्रियों के मामले में, संक्रमण की दर कुल परीक्षणों की 1.5 प्रतिशत भी नहीं थी।
उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि जनता को चिंता नहीं करनी चाहिए और देशभर में विभिन्न प्रयोगशालाओं में अध्ययन किए जा रहे नमूनों के जीनोम अनुक्रमण के परिणामों की प्रतीक्षा करनी चाहिए।
संक्रमित यात्रियों के नमूनों को जीनोम अनुक्रमण अध्ययन के लिए राष्ट्रीय रोग नियंत्रण केंद्र (एनसीडीसी) को भेजा गया है।
एनसीडीसी के निदेशक सुजीत कुमार सिंह ने बुधवार को आईएएनएस को बताया था कि अध्ययन के नतीजों में नमूनों की स्थिति तय करने में 2 से 3 दिन का समय लगेगा।
ब्रिटिश सरकार ने हाल ही में घोषणा की थी कि इसकी आबादी में पाए जाने वाले वायरस का नया रूप 70 प्रतिशत अधिक संक्रामक है और स्थिति नियंत्रण से बाहर है। इससे भारतीय अधिकारी 23 से 31 दिसंबर के बीच ब्रिटेन के लिए और वहां से उड़ानें स्थगित करने के लिए प्रेरित हुए।
जेनेस्ट्रिंग की निदेशक डॉ. गौरी अग्रवाल ने बताया कि ब्रिटेन की उड़ानों के लिए आकाश को बंद करने का निर्देश आने के बाद से आईजीआईए में कुल 4 उड़ानें उतरी थीं । उन्होंने कहा कि लंदन से 950 से अधिक इनबाउंड यात्रियों का लैब में परीक्षण किया गया।
अब तक विभिन्न भारतीय शहरों में पहुंचने वाले ब्रिटेन के 22 यात्री कोविड संक्रमित पाए गए हैं।
--आईएएनएस
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